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पहलगाम आतंकी हमला: मिलिए बहादुर नजाकत शाह से, 11 सैलानियों की जान बचाई

2025-04-25 18 Dailymotion

पहलगाम आतंकी हमले में मारे गए 26 बेगुनाहों में ज्यादातर सैलानी थे. सैय्यद आदिल हुसैन इकलौते थे, जो वहीं के रहने वाले थे. बताया जाता है कि बेखौफ आदिल ने आतंकवादियों से जमकर लोहा लिया. उन्होंने बेगुनाहों को बचाने के लिए आतंकियों से बंदूकें छीनने की कोशिश की. इसी कोशिश में उन्हें अपनी जान गंवानी पड़ी. बेगुनाहों को बचाने की कोशिश करने वालों में आदिल अकेले नहीं थे. उस भयावह दिन उनके चचेरे भाई नजाकत अहमद शाह भी मौके पर मौजूद थे. जिस वक्त हमला हुआ, वे छत्तीसगढ़ से आए सैलानियों को गाइड कर रहे थे. नजाकत ने बताया कि ये तय करना मुश्किल था कि आतंकवादी किस ओर से गोलियां चला रहे थे. गोलियों की आवाज पहाड़ों से टकरा कर गूंज कर वापस आ रही थी. नजाकत हर साल छत्तीसगढ़ में तीन महीने कश्मीरी शॉल बेचने जाते हैं. उन्होंने बताया कि कश्मीर में ज्यादातर लोगों की रोजी-रोटी पर्यटन की बदौलत ही चलती है. उन्होंने पहलगाम आतंकवादी हमले की निंदा की और हत्यारों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की अपील की.